अपने फाइनेंशियल प्लान को बनाये और भी बेहतर जानिए ये 7 तरीक़े !

क्या अच्छा फाइनेंशियल प्लान तैयार करने का कोई सीक्रेट फॉर्मूला है? फिनराइज के संस्थापक चीफ इमोशंस आफिसर विवेक शाह इसका जवाब हां में देते हैं. वह इसके लिए पिरामिड स्टाइल वाले प्लान को अपनाते हैं. इसमें पिरामिड के हर चरण में प्रमुख जरूरतें अपनी जगह लेती हैं. 8 मार्च को अहमदाबाद में ईटी की कार्यशाला में उन्होंने इस बात का जिक्र किया.


पहला  चरण:- शाह के अनुसार, फाइनेंशियल प्लानिंग का पहला चरण अपनी सभी जरूरतों और महत्वपूर्ण दस्तावेजों को तैयार कर लेना है. वह मानते हैं कि फाइनेंशियल प्लान बनाने से पहले सभी दस्तावेजों के साथ बैठ जाना चाहिए. सिर्फ दिमाग में आइडिया होने से काम नहीं चलेगा.

दूसरा  चरण:- फाइनेंशियल प्लानिंग में दूसरा चरण लंबी और छोटी अवधि के लक्ष्यों का पता लगाना है. वित्तीय लक्ष्य होने पर आपका निवेश शायद आपकी अपेक्षाओं को पूरा नहीं कर सके. शाह ने बताया, "वित्तीय लक्ष्यों को लिखना बेदह अहम है. अगर लक्ष्य और उनके लिए जुटाई जाने वाली रकम निकाली नहीं गई है, तो आपको कभी पता नहीं चलेगा कि कितना पर्याप्त होगा."



तीसरा  चरण:- तीसरे नंबर पर इमर्जेंसी फंड आता है. शाह फाइनेंशियल प्लानिंग में इमर्जेंसी फंड के महत्व पर काफी जोर देते हैं. अचानक पैसों की जरूरत पड़ने से अन्य सभी लक्ष्य प्रभावित हो सकते हैं. पैसों की इमर्जेंसी दूसरे लक्ष्यों को खटाई में डाल सकती है. शाह के मुताबिक, "इस तरह का फंड जरूर बनाना चाहिए जिसे जरूरत पड़ने पर कभी भी निकाला जा सके. इस तरह जरूरत के समय अन्य निवेश को भुनाने की जरूरत नहीं पड़ेगी."

चौथा चरण:- चौथा महत्वपूर्ण चरण है जोखिम की प्लानिंग. इस प्लान को तीन और सब-पार्ट्स में बांट सकते हैं. इनमें हेल्थ, लाइफ और एसेट शामिल हैं. विवेक शाह कहते हैं कि अनिश्चितता के समय के लिए बचत महत्वपूर्ण है. हेल्थ इंश्योरेंस, लाइफ इंश्योरेंस और एसेट का इंश्योरेंस करा लेना चाहिए. इससे सुनिश्चित हो जाएगा कि किसी दुर्घटना और आपदा की स्थिति में उसका असर आपके निवेश पर नहीं पड़ेगा.

पांचवां  चरण:-  अपने लक्ष्य हासिल करने के तरीकों का पता लगाना है. शिक्षा, शादी-ब्याह, घर, यात्रा जैसे लक्ष्यों के लिए बचत की रकम में महंगाई को शामिल कर लेना जरूरी है. इससे बचत का वास्तविक आंकड़ा निकालने में मदद मिलती है.


छठे  चरण:- इसके बाद यानी छठे चरण में लक्ष्यों के हिसाब से स्कीम और प्रोडक्ट चुनें. लंबी अवधि के सबसे महत्वपूर्ण लक्ष्यों में से एक है रिटायरमेंट. शाह मानते हैं कि निवेश शुरू करते हुए रिटायरमेंट को पहले लक्ष्य के तौर पर लेना चाहिए.

सातवाँ चरण:- जहां तक अंतिम लक्ष्य का सवाल है तो शाह मानते हैं कि हर निवेशक को एस्टेट प्लानिंग जरूर करनी चाहिए. इसका मतलब यह है कि जिन निवेशकों का निवेश है, उन्हें वसीयत, पावर आफ अटॉर्नी, फैमिली ट्रस्ट इत्यादि जरूर बनाना चाहिए. फिर उनकी उम्र भले कितनी हो.

"अगर आपने अपने नॉमिनी के लिए दस्तावेज तैयार नहीं किए हैं तो उन्हें आपकी विरासत को पाने में दिक्कत सकती है. उस स्थिति में निवेश का कोई मायने नहीं रह जाएगा."